1.
आज कसीनी ने अंतिम सिग्नल दिये हैं
और फिर विलीन हो गया है
शनि ग्रह के वातावरण में
पर उससे पहले दे गया है
पृथ्वी ग्रह की एक दुर्लभ तस्वीर
काले पर्दे में तैरता एक नीला गोला
जिसके आसपास कोई नहीं है
इतना अकेला है,
निपट अकेला,
और इसी छोटे से गोले पर
हम अपने बड़े होने के भ्रम में
आसमान सर पर उठा लेते हैं।
2.
कॉस्मोस के किसी एपिसोड में
देखा था कि कार्ल सेगन
वॉयजर वन से ली गई
धरती की फ़ोटो पर मुग्ध हो गये थे
क्या विज्ञान के लिये भी पागलपन
किसी में हो सकता है?
बाक़ी पागलपन से तो अच्छा ही होगा।
या पागलपन कोई भी अच्छा नहीं होता?
3.
सदियों से
पृथ्विवासियों ने आकाश में चमकती वस्तुओं को
मानकर रखा है
कि वो धरती पर हो रही घटनाओं का
वहीं से नियंत्रण करती हैं
क्या पता सुदूर, किसी और ग्रह पर
धरती के उपग्रह छोड़ने पर
कुछ और मानी निकलते हों।
(16 Sept 2017)
No comments:
Post a Comment